School of Studies in Hindi

Head of Department

Dr. Sajiwan Kumar
Dr. Sajiwan Kumar
Associate Professor
9424213188
skdrsanjuu@gmail.com

About the Department

हिंदी अध्ययनशाला विभाग की स्थापना वर्ष 2024 में हुई। यह विभाग भाषा एवं समाज एवं राष्ट्र के प्रति समर्पित एवं प्रतिबद्ध है। हिंदी भाषा के साथ ही छत्तीसगढ़ की लोकभाषा एवं लोक संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए यह विभाग महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। हिंदी भाषा समृद्ध साहित्य के साथ-साथ व्यापक क्षेत्र में संप्रेषण का माध्यम भी है। सामाजिक विकास और समाज के एक व्यापक वर्ग की अभिव्यक्ति को यह भाषा एक नया आकार देने में पूर्णतः सक्षम है। इसके साथ ही यह भाषा रोजी रोटी का एक माध्यम भी बन सके इसके लिए भी निरंतर प्रयास किए जा रहे हैं।  भाषा, साहित्य  और समाज में समन्वय पैदा करता है साथ ही सामाजिक गतिशीलता को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। हमें ज्ञान परंपरा को आगे बढ़ाने में भी अपना योगदान देने की जरूरत है। हिंदी पूरे विश्व में बोली और समझी जाती है। हिंदी भाषा को प्रचारित करने में भी यह विभाग प्रतिबद्ध है साथ ही सांस्कृतिक मूल्यों को रक्षित करके भावी पीढ़ी तक ले जाने में भी हम एक महत्वपूर्ण कड़ी के रूप में कार्य कर रहे हैं।  हम सभी हिंदी भाषा शिक्षक समाज एवं राष्ट्र निर्माण के लिए शपथ लेते हैं। यही राष्ट्र के निर्माण में हमारा योगदान होगा। ज्ञान को प्रचारित करने में भाषा कतई बाधा नहीं बननी चाहिए। आज के भूमंडलीकरण के इस युग में भाषा एक अवरोध के रूप में नहीं बल्कि एक अवसर में रूप में हमें दिखाई देती है अतः हमें इसका लाभ जरूर लेना चाहिए। आज सीमाएं टूट रही हैं और हिंदी भाषा अमेरिका जैसे शक्तिशाली राष्ट्रों तक अपना पहुँच बना चुकी है। हिंदी भाषा में नये ज्ञान का उत्पादन करने के लिए अब आगे आने का समय या चुका है हम कब तक औपनिवेशिक भाषाओं को ढोते रहेंगे। आज इस विषय पर भी गहन चिंतन- मनन करने की आवश्यकता है। आज दिन प्रतिदिन हमारी भाषाई चुनौतियाँ भी लगातार बढ़ती जा रही हैं। ऐसे समय में यह विभाग एक नए समाज के निर्माण में अपनी भूमिका के प्रति प्रतिबद्ध है। हम सभी भारतवासी अपनी भाषा हिंदी के प्रति और दृढ़ संकल्पित हैं और इसको सफल बनाने ए लिए लिए हम सभी मिलकर संकल्प लेते हैं।

हिंदी केवल भारत की नहीं वरन विश्व की सबसे अधिक वैज्ञानिक भाषा है। यह ज्ञान-विज्ञान के समस्त क्षेत्रों में अभिव्यक्ति के लिए न केवल उपयोगी है प्रत्युत वैश्विक संदर्भों में इसकी सार्थकता को भी सभी ने स्वीकार किया है। नयी राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के अंतर्गत बिना किसी भेदभाव के भारतीय समाज के प्रत्येक व्यक्ति तक गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को पहुँचाना प्रमुख लक्ष्य है। यह केवल ज्ञान प्रदान करने का माध्यम मात्र नहीं होगी वरन श्रेष्ठ व्यक्ति के निर्माण की संकल्पना को चरितार्थ करना इसका ध्येय है। यह शिक्षा प्राचीन सांस्कृतिक परंपरा, आधुनिक जीवन मूल्यों और भविष्य की चुनौतियों को केंद्र में रखकर समन्वयवादी दृष्टि की होगी। शहीद महेंद्र कर्मा विश्वविद्यालय ने भारत के प्रत्येक व्यक्ति तक शिक्षा को पहुँचने की दृष्टि से विभिन्न योजनाओं का क्रियान्वयन आरंभ कर दिया है। जिसका लक्ष्य भारत के प्रत्येक व्यक्ति तक मूल्यपरक शिक्षा को पहुँचाना है।